महाभारतम् — 1.161.17
Original
Segmented
का हि सर्वेषु लोकेषु विश्रुत-अभिजनम् नृपम् कन्या न अभिलषेत् नाथम् भर्तारम् भक्त-वत्सलम्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| का | क | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| हि | हि | pos=i |
| सर्वेषु | सर्व | pos=n,g=m,c=7,n=p |
| लोकेषु | लोक | pos=n,g=m,c=7,n=p |
| विश्रुत | विश्रु | pos=va,comp=y,f=part |
| अभिजनम् | अभिजन | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| नृपम् | नृप | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| कन्या | कन्या | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| न | न | pos=i |
| अभिलषेत् | अभिलष् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
| नाथम् | नाथ | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| भर्तारम् | भर्तृ | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| भक्त | भक्त | pos=n,comp=y |
| वत्सलम् | वत्सल | pos=a,g=m,c=2,n=s |