महाभारतम् — 1.171.8
Original
Segmented
तान् भृगूणाम् तदा दारान् कश्चिन् न अभ्यवपद्यत यदा तदा दधार इयम् ऊरुना एकेन माम् शुभा
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| तान् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=p |
| भृगूणाम् | भृगु | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| तदा | तदा | pos=i |
| दारान् | दार | pos=n,g=m,c=2,n=p |
| कश्चिन् | कश्चित् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| न | न | pos=i |
| अभ्यवपद्यत | अभ्यवपद् | pos=v,p=3,n=s,l=lan |
| यदा | यदा | pos=i |
| तदा | तदा | pos=i |
| दधार | धृ | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| इयम् | इदम् | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| ऊरुना | ऊरु | pos=n,g=m,c=3,n=s |
| एकेन | एक | pos=n,g=m,c=3,n=s |
| माम् | मद् | pos=n,g=,c=2,n=s |
| शुभा | शुभ | pos=a,g=f,c=1,n=s |