महाभारतम् — 1.31.4
Original
Segmented
सूत उवाच बहु-त्वात् नामधेयानि भुजगानाम् तपोधन न कीर्तयिष्ये सर्वेषाम् प्राधान्येन तु मे शृणु
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| सूत | सूत | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| बहु | बहु | pos=a,comp=y |
| त्वात् | त्व | pos=n,g=n,c=5,n=s |
| नामधेयानि | नामधेय | pos=n,g=n,c=2,n=p |
| भुजगानाम् | भुजग | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| तपोधन | तपोधन | pos=a,g=m,c=8,n=s |
| न | न | pos=i |
| कीर्तयिष्ये | कीर्तय् | pos=v,p=1,n=s,l=lrt |
| सर्वेषाम् | सर्व | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| प्राधान्येन | प्राधान्य | pos=n,g=n,c=3,n=s |
| तु | तु | pos=i |
| मे | मद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
| शृणु | श्रु | pos=v,p=2,n=s,l=lot |