महाभारतम् — 1.76.2
Original
Segmented
तेन दासी-सहस्रेण सार्धम् शर्मिष्ठया तदा तम् एव देशम् सम्प्राप्ता यथाकामम् चचार सा ताभिः सखीभिः सहिता सर्वाभिः मुदिता भृशम्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| तेन | तद् | pos=n,g=n,c=3,n=s |
| दासी | दासी | pos=n,comp=y |
| सहस्रेण | सहस्र | pos=n,g=n,c=3,n=s |
| सार्धम् | सार्धम् | pos=i |
| शर्मिष्ठया | शर्मिष्ठा | pos=n,g=f,c=3,n=s |
| तदा | तदा | pos=i |
| तम् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| एव | एव | pos=i |
| देशम् | देश | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| सम्प्राप्ता | सम्प्राप् | pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part |
| यथाकामम् | यथाकाम | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| चचार | चर् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| सा | तद् | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| ताभिः | तद् | pos=n,g=f,c=3,n=p |
| सखीभिः | सखी | pos=n,g=f,c=3,n=p |
| सहिता | सहित | pos=a,g=f,c=1,n=s |
| सर्वाभिः | सर्व | pos=n,g=f,c=3,n=p |
| मुदिता | मुद् | pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part |
| भृशम् | भृशम् | pos=i |