महाभारतम् — 10.1.38
Original
Segmented
सो ऽथ शब्दम् मृदुम् कृत्वा लीयमान इव अण्डजः न्यग्रोधस्य ततः शाखाम् प्रार्थयामास भारत
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| सो | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| ऽथ | अथ | pos=i |
| शब्दम् | शब्द | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| मृदुम् | मृदु | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| कृत्वा | कृ | pos=vi |
| लीयमान | ली | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
| इव | इव | pos=i |
| अण्डजः | अण्डज | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| न्यग्रोधस्य | न्यग्रोध | pos=n,g=m,c=6,n=s |
| ततः | ततस् | pos=i |
| शाखाम् | शाखा | pos=n,g=f,c=2,n=s |
| प्रार्थयामास | प्रार्थय् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| भारत | भारत | pos=n,g=m,c=8,n=s |