महाभारतम् — 11.6.12
Original
Segmented
एवम् संसार-चक्रस्य परिवृत्तिम् स्म ये विदुः ते वै संसार-चक्रस्य पाशान् छिन्दन्ति वै बुधाः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| एवम् | एवम् | pos=i |
| संसार | संसार | pos=n,comp=y |
| चक्रस्य | चक्र | pos=n,g=n,c=6,n=s |
| परिवृत्तिम् | परिवृत्ति | pos=n,g=f,c=2,n=s |
| स्म | स्म | pos=i |
| ये | यद् | pos=n,g=m,c=1,n=p |
| विदुः | विद् | pos=v,p=3,n=p,l=lit |
| ते | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=p |
| वै | वै | pos=i |
| संसार | संसार | pos=n,comp=y |
| चक्रस्य | चक्र | pos=n,g=n,c=6,n=s |
| पाशान् | पाश | pos=n,g=m,c=2,n=p |
| छिन्दन्ति | छिद् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
| वै | वै | pos=i |
| बुधाः | बुध | pos=a,g=m,c=1,n=p |