महाभारतम् — 13.26.31
Original
Segmented
मतङ्गवाप्याम् यः स्नायाद् एक-रात्रेण सिध्यति विगाहति हि अनालम्बम् अन्धकम् वै सनातनम्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| मतङ्गवाप्याम् | मतंगवापी | pos=n,g=f,c=7,n=s |
| यः | यद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| स्नायाद् | स्ना | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
| एक | एक | pos=n,comp=y |
| रात्रेण | रात्र | pos=n,g=m,c=3,n=s |
| सिध्यति | सिध् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
| विगाहति | विगाह् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
| हि | हि | pos=i |
| अनालम्बम् | अनालम्ब | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| अन्धकम् | अन्धक | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| वै | वै | pos=i |
| सनातनम् | सनातन | pos=a,g=m,c=2,n=s |