महाभारतम् — 13.36.3
Original
Segmented
केन शम्बर वृत्तेन स्व-जात्यान् अधितिष्ठसि श्रेष्ठम् त्वाम् केन मन्यन्ते तत् मे प्रब्रूहि पृच्छतः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| केन | क | pos=n,g=n,c=3,n=s |
| शम्बर | शम्बर | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| वृत्तेन | वृत्त | pos=n,g=n,c=3,n=s |
| स्व | स्व | pos=a,comp=y |
| जात्यान् | जात्य | pos=a,g=m,c=2,n=p |
| अधितिष्ठसि | अधिष्ठा | pos=v,p=2,n=s,l=lat |
| श्रेष्ठम् | श्रेष्ठ | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| त्वाम् | त्वद् | pos=n,g=,c=2,n=s |
| केन | केन | pos=i |
| मन्यन्ते | मन् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
| तत् | तद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| मे | मद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
| प्रब्रूहि | प्रब्रू | pos=v,p=2,n=s,l=lot |
| पृच्छतः | प्रच्छ् | pos=va,g=m,c=6,n=s,f=part |