महाभारतम् — 14.20.7
Original
Segmented
मोहम् एव नियच्छन्ति कर्मणा ज्ञान-वर्जिताः नैष्कर्म्यम् न च लोके ऽस्मिन् इति उपलभ्यते
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| मोहम् | मोह | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| एव | एव | pos=i |
| नियच्छन्ति | नियम् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
| कर्मणा | कर्मन् | pos=n,g=n,c=3,n=s |
| ज्ञान | ज्ञान | pos=n,comp=y |
| वर्जिताः | वर्जय् | pos=va,g=m,c=1,n=p,f=part |
| नैष्कर्म्यम् | नैष्कर्म्य | pos=n,g=n,c=1,n=s |
| न | न | pos=i |
| च | च | pos=i |
| लोके | लोक | pos=n,g=m,c=7,n=s |
| ऽस्मिन् | इदम् | pos=n,g=m,c=7,n=s |
| इति | इति | pos=i |
| उपलभ्यते | उपलभ् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |