महाभारतम् — 17.3.32
Original
Segmented
सिद्धिम् प्राप्तो ऽसि परमाम् यथा न अन्यः पुमान् क्वचित् न एव ते भ्रातरः स्थानम् सम्प्राप्ताः कुरु-नन्दन
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| सिद्धिम् | सिद्धि | pos=n,g=f,c=2,n=s |
| प्राप्तो | प्राप् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
| ऽसि | अस् | pos=v,p=2,n=s,l=lat |
| परमाम् | परम | pos=a,g=f,c=2,n=s |
| यथा | यथा | pos=i |
| न | न | pos=i |
| अन्यः | अन्य | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| पुमान् | पुंस् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| क्वचित् | क्वचिद् | pos=i |
| न | न | pos=i |
| एव | एव | pos=i |
| ते | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
| भ्रातरः | भ्रातृ | pos=n,g=m,c=1,n=p |
| स्थानम् | स्थान | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| सम्प्राप्ताः | सम्प्राप् | pos=va,g=m,c=1,n=p,f=part |
| कुरु | कुरु | pos=n,comp=y |
| नन्दन | नन्दन | pos=n,g=m,c=8,n=s |