महाभारतम् — 3.161.14
Original
Segmented
यदा एव धौम्य-अनुमते महात्मा कृत्वा जटाः प्रव्रजितः स जिष्णुः तदा एव तेषाम् न बभूव हर्षः कुतो रतिस् तद्-गत-मानसानाम्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| यदा | यदा | pos=i |
| एव | एव | pos=i |
| धौम्य | धौम्य | pos=n,comp=y |
| अनुमते | अनुमत | pos=n,g=n,c=7,n=s |
| महात्मा | महात्मन् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
| कृत्वा | कृ | pos=vi |
| जटाः | जटा | pos=n,g=f,c=2,n=p |
| प्रव्रजितः | प्रव्रज् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
| स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| जिष्णुः | जिष्णु | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| तदा | तदा | pos=i |
| एव | एव | pos=i |
| तेषाम् | तद् | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| न | न | pos=i |
| बभूव | भू | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| हर्षः | हर्ष | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| कुतो | कुतस् | pos=i |
| रतिस् | रति | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| तद् | तद् | pos=n,comp=y |
| गत | गम् | pos=va,comp=y,f=part |
| मानसानाम् | मानस | pos=n,g=m,c=6,n=p |