महाभारतम् — 4.13.1
Original
Segmented
वैशंपायन उवाच वसमानेषु पार्थेषु मत्स्यस्य नगरे तदा महा-रथेषु छन्नेषु मासा दश समत्ययुः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| वैशंपायन | वैशम्पायन | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| वसमानेषु | वस् | pos=va,g=m,c=7,n=p,f=part |
| पार्थेषु | पार्थ | pos=n,g=m,c=7,n=p |
| मत्स्यस्य | मत्स्य | pos=n,g=m,c=6,n=s |
| नगरे | नगर | pos=n,g=n,c=7,n=s |
| तदा | तदा | pos=i |
| महा | महत् | pos=a,comp=y |
| रथेषु | रथ | pos=n,g=m,c=7,n=p |
| छन्नेषु | छद् | pos=va,g=m,c=7,n=p,f=part |
| मासा | मास | pos=n,g=m,c=1,n=p |
| दश | दशन् | pos=n,g=n,c=1,n=s |
| समत्ययुः | समतिया | pos=v,p=3,n=p,l=lun |