महाभारतम् — 5.13.7
Original
Segmented
शल्य उवाच नहुषेण विसृष्टा च निश्चक्राम ततः शुभा बृहस्पति-निकेतम् सा जगाम च तपस्विनी
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| शल्य | शल्य | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| नहुषेण | नहुष | pos=n,g=m,c=3,n=s |
| विसृष्टा | विसृज् | pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part |
| च | च | pos=i |
| निश्चक्राम | निष्क्रम् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| ततः | ततस् | pos=i |
| शुभा | शुभ | pos=a,g=f,c=1,n=s |
| बृहस्पति | बृहस्पति | pos=n,comp=y |
| निकेतम् | निकेत | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| सा | तद् | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| जगाम | गम् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| च | च | pos=i |
| तपस्विनी | तपस्विनी | pos=n,g=f,c=1,n=s |