महाभारतम् — 5.161.9
Original
Segmented
वृषसेनाय सौभद्रम् शेषाणाम् च महीक्षिताम् समर्थम् तम् हि मेने वै पार्थाद् अभ्यधिकम् रणे
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| वृषसेनाय | वृषसेन | pos=n,g=m,c=4,n=s |
| सौभद्रम् | सौभद्र | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| शेषाणाम् | शेष | pos=a,g=m,c=6,n=p |
| च | च | pos=i |
| महीक्षिताम् | महीक्षित् | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| समर्थम् | समर्थ | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| तम् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| हि | हि | pos=i |
| मेने | मन् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| वै | वै | pos=i |
| पार्थाद् | पार्थ | pos=n,g=m,c=5,n=s |
| अभ्यधिकम् | अभ्यधिक | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| रणे | रण | pos=n,g=m,c=7,n=s |