महाभारतम् — 6.15.29
Original
Segmented
भीष्मो यद् अकरोत् कर्म समरे संजय अरि-हा दुर्योधन-हित-अर्थाय के तदा अस्य पुरो ऽभवन्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| भीष्मो | भीष्म | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| यद् | यद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| अकरोत् | कृ | pos=v,p=3,n=s,l=lan |
| कर्म | कर्मन् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| समरे | समर | pos=n,g=n,c=7,n=s |
| संजय | संजय | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| अरि | अरि | pos=n,comp=y |
| हा | हन् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
| दुर्योधन | दुर्योधन | pos=n,comp=y |
| हित | हित | pos=n,comp=y |
| अर्थाय | अर्थ | pos=n,g=m,c=4,n=s |
| के | क | pos=n,g=m,c=1,n=p |
| तदा | तदा | pos=i |
| अस्य | इदम् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
| पुरो | पुरस् | pos=i |
| ऽभवन् | भू | pos=v,p=3,n=p,l=lan |