महाभारतम् — 6.41.1
Original
Segmented
संजय उवाच ततो धनंजयम् दृष्ट्वा बाण-गाण्डीव-धारिणम् पुनः एव महा-नादम् व्यसृजन्त महा-रथाः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| संजय | संजय | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| ततो | ततस् | pos=i |
| धनंजयम् | धनंजय | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| दृष्ट्वा | दृश् | pos=vi |
| बाण | बाण | pos=n,comp=y |
| गाण्डीव | गाण्डीव | pos=n,comp=y |
| धारिणम् | धारिन् | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| पुनः | पुनर् | pos=i |
| एव | एव | pos=i |
| महा | महत् | pos=a,comp=y |
| नादम् | नाद | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| व्यसृजन्त | विसृज् | pos=v,p=3,n=p,l=lan |
| महा | महत् | pos=a,comp=y |
| रथाः | रथ | pos=n,g=m,c=1,n=p |