महाभारतम् — 7.112.21
Original
Segmented
ते समासाद्य कौन्तेयम् आवृण्वञ् शर-वृष्टिभिः पर्वतम् वारि-धाराभिः प्रावृषि इव बलाहकाः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| ते | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=p |
| समासाद्य | समासादय् | pos=vi |
| कौन्तेयम् | कौन्तेय | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| आवृण्वञ् | आवृ | pos=v,p=3,n=p,l=lan |
| शर | शर | pos=n,comp=y |
| वृष्टिभिः | वृष्टि | pos=n,g=f,c=3,n=p |
| पर्वतम् | पर्वत | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| वारि | वारि | pos=n,comp=y |
| धाराभिः | धारा | pos=n,g=f,c=3,n=p |
| प्रावृषि | प्रावृष् | pos=n,g=f,c=7,n=s |
| इव | इव | pos=i |
| बलाहकाः | बलाहक | pos=n,g=m,c=1,n=p |