महाभारतम् — 7.114.87
Original
Segmented
स गरुत्मान् इव आकाशे प्रार्थयन् भुजग-उत्तमम् नाराचो ऽभ्यपतत् कर्णम् तूर्णम् गाण्डीव-चोदितः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| गरुत्मान् | गरुत्मन्त् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| इव | इव | pos=i |
| आकाशे | आकाश | pos=n,g=n,c=7,n=s |
| प्रार्थयन् | प्रार्थय् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
| भुजग | भुजग | pos=n,comp=y |
| उत्तमम् | उत्तम | pos=a,g=m,c=2,n=s |
| नाराचो | नाराच | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| ऽभ्यपतत् | अभिपत् | pos=v,p=3,n=s,l=lan |
| कर्णम् | कर्ण | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| तूर्णम् | तूर्णम् | pos=i |
| गाण्डीव | गाण्डीव | pos=n,comp=y |
| चोदितः | चोदय् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |