महाभारतम् — 7.123.28
Original
Segmented
अनाश्चर्यो जयः तेषाम् येषाम् नाथो ऽसि माधव त्वद्-प्रसादात् महीम् कृत्स्नाम् सम्प्राप्स्यति युधिष्ठिरः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| अनाश्चर्यो | अनाश्चर्य | pos=a,g=m,c=1,n=s |
| जयः | जय | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| तेषाम् | तद् | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| येषाम् | यद् | pos=n,g=m,c=6,n=p |
| नाथो | नाथ | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| ऽसि | अस् | pos=v,p=2,n=s,l=lat |
| माधव | माधव | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| त्वद् | त्वद् | pos=n,comp=y |
| प्रसादात् | प्रसाद | pos=n,g=m,c=5,n=s |
| महीम् | मही | pos=n,g=f,c=2,n=s |
| कृत्स्नाम् | कृत्स्न | pos=a,g=f,c=2,n=s |
| सम्प्राप्स्यति | सम्प्राप् | pos=v,p=3,n=s,l=lrt |
| युधिष्ठिरः | युधिष्ठिर | pos=n,g=m,c=1,n=s |