रामायणम् — 1.8.9
Original
Segmented
द्वैविध्यम् ब्रह्मचर्यस्य भविष्यति महात्मनः लोकेषु प्रथितम् राजन् विप्रैः च कथितम् सदा
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| द्वैविध्यम् | द्वैविध्य | pos=n,g=n,c=1,n=s |
| ब्रह्मचर्यस्य | ब्रह्मचर्य | pos=n,g=n,c=6,n=s |
| भविष्यति | भू | pos=v,p=3,n=s,l=lrt |
| महात्मनः | महात्मन् | pos=a,g=m,c=6,n=s |
| लोकेषु | लोक | pos=n,g=m,c=7,n=p |
| प्रथितम् | प्रथ् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
| राजन् | राजन् | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| विप्रैः | विप्र | pos=n,g=m,c=3,n=p |
| च | च | pos=i |
| कथितम् | कथय् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
| सदा | सदा | pos=i |