रामायणम् — 2.12.20
Original
Segmented
यदा वक्तुम् स्वयम् दैन्यान् न शशाक महीपतिः तदा सुमन्त्रम् मन्त्र-ज्ञा कैकेयी प्रत्युवाच ह
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| यदा | यदा | pos=i |
| वक्तुम् | वच् | pos=vi |
| स्वयम् | स्वयम् | pos=i |
| दैन्यान् | दैन्य | pos=n,g=n,c=5,n=s |
| न | न | pos=i |
| शशाक | शक् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| महीपतिः | महीपति | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| तदा | तदा | pos=i |
| सुमन्त्रम् | सुमन्त्र | pos=n,g=m,c=2,n=s |
| मन्त्र | मन्त्र | pos=n,comp=y |
| ज्ञा | ज्ञ | pos=a,g=f,c=1,n=s |
| कैकेयी | कैकेयी | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| प्रत्युवाच | प्रतिवच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| ह | ह | pos=i |