रामायणम् — 3.28.18
Original
Segmented
प्राकृतास् त्व् अकृतात्मानो लोके क्षत्रिय-पांसनाः निरर्थकम् विकत्थन्ते यथा राम विकत्थसे
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| प्राकृतास् | प्राकृत | pos=a,g=m,c=1,n=p |
| त्व् | तु | pos=i |
| अकृतात्मानो | अकृतात्मन् | pos=a,g=m,c=1,n=p |
| लोके | लोक | pos=n,g=m,c=7,n=s |
| क्षत्रिय | क्षत्रिय | pos=n,comp=y |
| पांसनाः | पांसन | pos=a,g=m,c=1,n=p |
| निरर्थकम् | निरर्थक | pos=a,g=,c=2,n=s |
| विकत्थन्ते | विकत्थ् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
| यथा | यथा | pos=i |
| राम | राम | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| विकत्थसे | विकत्थ् | pos=v,p=2,n=s,l=lat |