रामायणम् — 5.35.35
Original
Segmented
इति संचिन्त्य हनुमन्त् तदा प्लवग-सत्तमः दर्शयामास वैदेह्याः स्व-रूपम् अरि-मर्दनः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| इति | इति | pos=i |
| संचिन्त्य | संचिन्तय् | pos=vi |
| हनुमन्त् | हनुमन्त् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| तदा | तदा | pos=i |
| प्लवग | प्लवग | pos=n,comp=y |
| सत्तमः | सत्तम | pos=a,g=m,c=1,n=s |
| दर्शयामास | दर्शय् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
| वैदेह्याः | वैदेही | pos=n,g=f,c=6,n=s |
| स्व | स्व | pos=a,comp=y |
| रूपम् | रूप | pos=n,g=n,c=2,n=s |
| अरि | अरि | pos=n,comp=y |
| मर्दनः | मर्दन | pos=a,g=m,c=1,n=s |