रामायणम् — 6.25.21
Original
Segmented
दीयताम् अभिसत्कृत्य मनुज-इन्द्राय मैथिली निदर्शनम् ते पर्याप्तम् जनस्थाने यद् अद्भुतम्
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| दीयताम् | दा | pos=v,p=3,n=s,l=lot |
| अभिसत्कृत्य | अभिसत्कृ | pos=vi |
| मनुज | मनुज | pos=n,comp=y |
| इन्द्राय | इन्द्र | pos=n,g=m,c=4,n=s |
| मैथिली | मैथिली | pos=n,g=f,c=1,n=s |
| निदर्शनम् | निदर्शन | pos=n,g=n,c=1,n=s |
| ते | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
| पर्याप्तम् | पर्याप् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
| जनस्थाने | जनस्थान | pos=n,g=n,c=7,n=s |
| यद् | यद् | pos=n,g=n,c=1,n=s |
| अद्भुतम् | अद्भुत | pos=a,g=n,c=1,n=s |