रामायणम् — 6.90.9
Original
Segmented
सहस्राक्षेण काकुत्स्थ रथो ऽयम् विजयाय ते दत्तः ते महा-सत्त्व श्रीमाञ् शत्रु-निबर्हणः
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| सहस्राक्षेण | सहस्राक्ष | pos=n,g=m,c=3,n=s |
| काकुत्स्थ | काकुत्स्थ | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| रथो | रथ | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| ऽयम् | इदम् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
| विजयाय | विजय | pos=n,g=m,c=4,n=s |
| ते | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
| दत्तः | दा | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
| ते | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
| महा | महत् | pos=a,comp=y |
| सत्त्व | सत्त्व | pos=n,g=m,c=8,n=s |
| श्रीमाञ् | श्रीमत् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
| शत्रु | शत्रु | pos=n,comp=y |
| निबर्हणः | निबर्हण | pos=a,g=m,c=1,n=s |