सौन्दरनन्दम् — 15.19
Original
Segmented
तस्मात् अकुशलम् त्यक्त्वा कुशलम् ध्यातुम् अर्हसि यत् ते स्यात् इह च अर्थाय परम-अर्थस्य च आप्तये
Analysis
| Word | Lemma | Parse |
|---|---|---|
| तस्मात् | तस्मात् | pos=i |
| अकुशलम् | अकुशल | pos=a,g=n,c=2,n=s |
| त्यक्त्वा | त्यज् | pos=vi |
| कुशलम् | कुशल | pos=a,g=n,c=2,n=s |
| ध्यातुम् | ध्या | pos=vi |
| अर्हसि | अर्ह् | pos=v,p=2,n=s,l=lat |
| यत् | यद् | pos=n,g=n,c=1,n=s |
| ते | त्वद् | pos=n,g=,c=4,n=s |
| स्यात् | अस् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
| इह | इह | pos=i |
| च | च | pos=i |
| अर्थाय | अर्थ | pos=n,g=m,c=4,n=s |
| परम | परम | pos=a,comp=y |
| अर्थस्य | अर्थ | pos=n,g=m,c=6,n=s |
| च | च | pos=i |
| आप्तये | आप्ति | pos=n,g=f,c=4,n=s |